केंद्रीय कर्मियों के वेतन व पेंशन में ढाई गुना वृद्धि: संशोधनों के साथ सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें मंजूर, इस तरह मिलेगा वेतन
जनवरी से होंगी लागू, मिलेगा एरियर, बकाया वर्ष अंत तक
क्लास वन अधिकारियों का वेतन 56,100 रुपये से शुरू
अब शुरुआती न्यूनतम वेतन 18 हजार रुपये
ई दिल्ली : राजधानी दिल्ली में मानसून पहली जुलाई को पहुंचने वाला है। इससे दो दिन पहले केंद्र सरकार ने अपने एक करोड़ कर्मचारियों के लिए धनवर्षा कर दी। सरकार ने सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को बुधवार को स्वीकार कर लिया। इससे केंद्र सरकार के 47 लाख कर्मियों के वेतन और लगभग 53 लाख पेंशनरों की पेंशन में 2.57 गुना की बढ़ोतरी होगी। बढ़ोतरी का यह फैसला पहली जनवरी, 2016 से लागू होगा। सरकार ने कहा है कि हर तरह के बकाया राशि की अदायगी दिसंबर, 2016 तक कर दी जाएगी। इस फैसले का पूरी अर्थव्यवस्था पर बहुआयामी असर पड़ने की संभावना है क्योंकि केंद्र सरकार पर सालाना 1,02,100 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा।1प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक के फैसलों के बारे में वित्त मंत्री अरुण जेटली ने जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जनवरी से मार्च, 2016 तक के बकाये भत्ते के भुगतान के तौर पर 12 हजार करोड़ रुपये का बोझ सरकार पर आएगा। इस तरह से चालू वित्त वर्ष के दौरान सरकार पर 1,14,000 करोड़ रुपये का बोझ आएगा।
उन्होंने बताया कि वेतन आयोग ने न्यूनतम वेतन में 2.57 गुना बढ़ोतरी की जो सिफारिश की थी, उसे स्वीकार कर लिया गया है। आयोग की अधिकांश सिफारिशों को स्वीकार कर लिया गया है लेकिन दो मुद्दों पर अलग से समितियां गठित की गई हैं। इनमें से एक समिति वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने के बाद विभिन्न पदों और विभिन्न वर्गो के कर्मचारियों के वेतनमान में जो विसंगतियां आती हैं, उन्हें दूर करने पर सिफारिश देगी। एक अन्य समिति नई पेंशन स्कीम (एनपीएस) को और आकर्षक बनाने पर सुझाव देने के लिए गठित की गई है। उन्होंने इस बात के भी साफ संकेत दिए कि अभी जितने तरह के भत्ते मिल रहे हैं, उन्हें अब ज्यादा दिनों तक जारी नहीं रखा जा सकता। वित्त सचिव की अध्यक्षता में एक समिति सरकारी भत्तों को नए सिरे से परिभाषित करने के लिए बनाई गई है। अभी 196 तरह के भत्ते लागू हैं। लेकिन वेतन आयोग ने इनमें से 53 को खत्म करने की सिफारिश की है। भत्ताें पर समिति का फैसला आने तक मौजूदा भत्ते आदि लागू रहेंगे। 1जेटली ने बताया कि निजी और सरकारी क्षेत्र के बीच वेतनमान में बढ़ रहे अंतर को खत्म करना जरूरी है ताकि बेहतर प्रतिभाओं को सरकारी नौकरियों की तरफ आकर्षित किया जा सके। बताते चलें कि इस फैसले से जिन एक करोड़ केंद्रीय कर्मियों और पेंशनरों को फायदा होगा, उनमें सेना में काम करने वाले 14 लाख जवान और अधिकारी और भारतीय सेना से सेवानिवृत्त 16 लाख पेंशन भोगी भी शामिल हैं।ल्लग्रैच्युटी: इसकी राशि 10 लाख रुपये से बढ़ा कर 20 लाख रुपये। सेवा के दौरान मृत्यु होने पर आश्रितों को मिलने वाली 10 से 20 लाख रुपये की मौजूदा सीमा बढ़ाकर 25 से 45 लाख रुपये
ल्लब्याज मुक्त एडवांस: मेडिकल चिकित्सा, ट्रैवल अलाउंस और एलटीसी के लिए यह जारी
क्लास वन अधिकारियों का वेतन 56,100 रुपये से शुरू
अब शुरुआती न्यूनतम वेतन 18 हजार रुपये
ई दिल्ली : राजधानी दिल्ली में मानसून पहली जुलाई को पहुंचने वाला है। इससे दो दिन पहले केंद्र सरकार ने अपने एक करोड़ कर्मचारियों के लिए धनवर्षा कर दी। सरकार ने सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को बुधवार को स्वीकार कर लिया। इससे केंद्र सरकार के 47 लाख कर्मियों के वेतन और लगभग 53 लाख पेंशनरों की पेंशन में 2.57 गुना की बढ़ोतरी होगी। बढ़ोतरी का यह फैसला पहली जनवरी, 2016 से लागू होगा। सरकार ने कहा है कि हर तरह के बकाया राशि की अदायगी दिसंबर, 2016 तक कर दी जाएगी। इस फैसले का पूरी अर्थव्यवस्था पर बहुआयामी असर पड़ने की संभावना है क्योंकि केंद्र सरकार पर सालाना 1,02,100 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा।1प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक के फैसलों के बारे में वित्त मंत्री अरुण जेटली ने जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जनवरी से मार्च, 2016 तक के बकाये भत्ते के भुगतान के तौर पर 12 हजार करोड़ रुपये का बोझ सरकार पर आएगा। इस तरह से चालू वित्त वर्ष के दौरान सरकार पर 1,14,000 करोड़ रुपये का बोझ आएगा।
उन्होंने बताया कि वेतन आयोग ने न्यूनतम वेतन में 2.57 गुना बढ़ोतरी की जो सिफारिश की थी, उसे स्वीकार कर लिया गया है। आयोग की अधिकांश सिफारिशों को स्वीकार कर लिया गया है लेकिन दो मुद्दों पर अलग से समितियां गठित की गई हैं। इनमें से एक समिति वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने के बाद विभिन्न पदों और विभिन्न वर्गो के कर्मचारियों के वेतनमान में जो विसंगतियां आती हैं, उन्हें दूर करने पर सिफारिश देगी। एक अन्य समिति नई पेंशन स्कीम (एनपीएस) को और आकर्षक बनाने पर सुझाव देने के लिए गठित की गई है। उन्होंने इस बात के भी साफ संकेत दिए कि अभी जितने तरह के भत्ते मिल रहे हैं, उन्हें अब ज्यादा दिनों तक जारी नहीं रखा जा सकता। वित्त सचिव की अध्यक्षता में एक समिति सरकारी भत्तों को नए सिरे से परिभाषित करने के लिए बनाई गई है। अभी 196 तरह के भत्ते लागू हैं। लेकिन वेतन आयोग ने इनमें से 53 को खत्म करने की सिफारिश की है। भत्ताें पर समिति का फैसला आने तक मौजूदा भत्ते आदि लागू रहेंगे। 1जेटली ने बताया कि निजी और सरकारी क्षेत्र के बीच वेतनमान में बढ़ रहे अंतर को खत्म करना जरूरी है ताकि बेहतर प्रतिभाओं को सरकारी नौकरियों की तरफ आकर्षित किया जा सके। बताते चलें कि इस फैसले से जिन एक करोड़ केंद्रीय कर्मियों और पेंशनरों को फायदा होगा, उनमें सेना में काम करने वाले 14 लाख जवान और अधिकारी और भारतीय सेना से सेवानिवृत्त 16 लाख पेंशन भोगी भी शामिल हैं।ल्लग्रैच्युटी: इसकी राशि 10 लाख रुपये से बढ़ा कर 20 लाख रुपये। सेवा के दौरान मृत्यु होने पर आश्रितों को मिलने वाली 10 से 20 लाख रुपये की मौजूदा सीमा बढ़ाकर 25 से 45 लाख रुपये
ल्लब्याज मुक्त एडवांस: मेडिकल चिकित्सा, ट्रैवल अलाउंस और एलटीसी के लिए यह जारी
केंद्रीय कर्मियों के वेतन व पेंशन में ढाई गुना वृद्धि: संशोधनों के साथ सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें मंजूर, इस तरह मिलेगा वेतन
Reviewed by UMATIYA ATAULLA
on
04:08 PM
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